विधानसभा में कांग्रेस विधायक उप नेता प्रतिपक्ष हेमंत कटारे ने कहा था कि सौरभ शर्मा केस में पूरा प्रदेश बदनाम हो रहा है। उन्होंने परिवहन विभाग में शर्मा की गलत नियुक्ति के लिए पूर्व मंत्री भूपेंद्र सिंह को जिम्मेदार ठहराया था। कटारे ने आरोप लगाया था कि शर्मा की फर्जी नियुक्ति, पूर्व मंत्री के हस्तक्षेप और दबाव से हुई है।
हेमंत कटारे ने कहा कि हमारे प्रतिनिधिमंडल ने लोकायुक्त डीजी को इस संबंध में पूरे प्रमाण सौंपे हैं। लोकायुक्त को साक्ष्य के साथ शपथ पत्र भी दिया है। कटारे ने कहा कि हमने लोकायुक्त से भूपेंद्र सिंह पर एफआईआर दर्ज कर उन्हें सह आरोपी बनाने की मांग की।
सदन में हेमंत कटारे ने पूछा था कि अब तक जो सोना-चांदी-नकदी बरामद हुई है, उसका असल मालिक कौन है? पूर्व मंत्री भूपेंद्र सिंह, गोविंद सिंह या वर्तमान मंत्री! हेमंत कटारे ने कहा कि यह सोना चांदी यदि किसी और का है तो भी सच्चाई सामने आनी चाहिए।
आरोपों का पूर्व मंत्री गोविंदसिंह ने भी जमकर जवाब दिया। भूपेंद्र सिंह ने इस बात से साफ इंकार कर दिया कि सौरभ शर्मा की नियुक्ति में उनका हस्तक्षेप था। मैं खुद उसकी नियुक्ति को गलत बता रहा हूं, सरकार इसकी जांच कर कार्रवाई करेगी।
भूपेंद्र सिंह यहीं नहीं रुके। उन्होंने कहा कि सदन में हेमंत कटारे ने गलत आरोप लगाए हैं… मैं कैसे दोषी हो गया… मैंने तो सबसे पहले चेकपोस्ट बंद किए… पूर्व मंत्री ने हेमंत कटारे पर लगे आरोप भी गिनाए और कहा कि कटारे पर दुष्कर्म का केस दर्ज हुआ, इसे लेकर मैं सुप्रीम कोर्ट जाऊंगा।
विधानसभा में हेमंत कटारे और भूपेंद्र सिंह की तीखी झड़प पर बाद में कांग्रेस विधायक पूर्व मंत्री जयवर्धन सिंह ने भी मीडिया के समक्ष कमेंट किया। उन्होंने हेमंत कटारे का बचाव करते हुए कहा कि भूपेंद्र सिंह को उनके ऊपर निजी आरोप नहीं लगाने चाहिए थे। बीजेपी के पास कोई ठोस उपलब्धि नहीं है, इसलिए ये अनाप-शनाप बातें कर रहे हैं। कम से कम राज्यपाल के अभिभाषण पर तो मर्यादा रखनी चाहिए थी।