सिंधी कैंप के बाहर अवैध बसों का संचालन कोई नई बात नहीं है। कई बार पुलिस और प्रशासन की ओर से बस संचालकों को हिदायत दी गई थी, लेकिन बावजूद इसके अवैध गतिविधियां लगातार जारी थी। यहां से अजमेर, कोटा, उदयपुर समेत प्रदेश के विभिन्न जिलों के लिए निजी बसें अवैध रूप से संचालित हो रही थी। इन बसों के पास न तो वैध परमिट था। न ही आवश्यक दस्तावेज थे, जिससे न केवल यात्रियों की सुरक्षा से खिलवाड़ हो रहा था, बल्कि रोडवेज को भी भारी राजस्व नुकसान उठाना पड़ रहा था।
रोडवेज प्रशासन के अनुसार इन अवैध बसों के कारण रोडवेज की अधिकृत बसों में यात्री संख्या कम हो रही है। जिससे सरकार को लाखों रुपए का घाटा हो रहा है। वहीं यात्रियों को भी इन बसों में कोई बीमा सुविधा या सुरक्षा की गारंटी नहीं होती। कई बार इन बसों में ओवरलोडिंग और ट्रैफिक नियमों की अनदेखी भी देखने को मिलती है।
कार्रवाई के दौरान पुलिस ने मौके पर पहुंचकर बसों की जांच की। जिनमें से कई बसें बिना किसी वैध कागजात के पाई गईं। जिसके बाद इन सभी को सीज कर दिया। पुलिस अधिकारियों ने बताया कि यह अभियान आगे भी जारी रहेगा और जो भी निजी बस संचालक अवैध रूप से बस संचालन करते हुए पाए जाएंगे। उनके खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी।