बेलगहना चौकी प्रभारी भावेश शेंडे ने बताया कि ग्राम उमरिया में रहने वाले सुखसिंह बैगा 55 वर्ष रोज़ी मज़दूरी करते थे। उनका बेटा चुन्नी लाल बैगा पास के गांव में रहकर रोज़ी मज़दूरी करता है। घर पर सुखसिंह अपनी पत्नी कुंवरिया बाई 50 वर्ष और 11 साल के बेटे दिलेश के साथ रहते थे।
सोमवार की सुबह दिलेश घर आया तो उसकी मां की खून से लथपथ
लाश बरामदे में पड़ी थी। अंदर कमरे में उसके पिता की लाश फांसी के फंदे पर लटक रही थी। उसने मोहल्ले के लोगों को इसकी जानकारी दी। इधर सूचना पर पुलिस पहुंची।
मां की पिटाई देख बेटा भाग गया मामा के यहां
पूछताछ में दिलेश ने बताया कि रविवार की रात उसके पिता सुखसिंह मां कुंवरिया बाई से रुपए मांग रहे थे। मना करने पर उसने कुंवरिया बाई की पिटाई शुरू कर दी। इसे देख दिलेश डर गया। वह भागकर पास में ही रहने वाले अपने मामा के घर चला गया था। पति-पत्नी के बीच आए दिन विवाद होने के कारण परिवार के अन्य सदस्यों ने ध्यान नहीं दिया। इधर दिलेश अपने मामा के घर पर ही सो गया। सुबह जब वह घर पहुंचा तो उसे घटना की जानकारी हुई।
दिलेश सोमवार की सुबह उठने के बाद जब घर पहुंचा तो मां की लाश खून से लथपथ पड़ी मिली। कमरे में पिता का शव फांसी के फंदे पर लटक रहा था। वह दौड़कर बाहर निकला और पड़ोसियों को घटना की जानकारी दी। गांव के लोगों ने घटना की जाकारी बेलगहना पुलिस को दी, जिसके बाद पुलिस मौके पर पहुंच गई।